UPTET/CTET Hindi Language Practice Set 31 : CTET की परीक्षा प्रारंभ हो चुकी है जो कि 13 जनवरी तक चलने वाली है। UPTET की परीक्षा 28 नवंबर को आयोजित होने वाली थी, लेकिन पेपर लीक हो जाने की वजह से पूरी परीक्षा प्रक्रिया को रद्द करना पड़ा। अब एसकी परीक्षा जनवरी 2022 में होने की संभावना है।
ऐसे में इस लेख के जरिये हम आपको UPTET/CTET के परीक्षा में पूछे गए विगत वर्षों के हिंदी भाषा के 30 महत्वपूर्ण प्रश्नों से अवगत कराएंगे, जिसका अध्ययन कर के आप अपनी तैयारी को और भी मजबूती प्रदान कर सकतें हैं।
UPTET/CTET Hindi Language Practice Set 31
प्रश्न : मुदिता आठवीं कक्षा में हिन्दी भाषा पढ़ाती है। कविता के भाव के बारे में बातचीत करते समय आप उन्हें किस बात के प्रति सचेत रहने की सलाह देंगे?
- कविता को गद्य में परिवर्तित करवाने वाली गतिविधि कविता-शिक्षण का अनिवार्य पक्ष है
- कविता की भाषा, व्याकरण पर विशेष बल दिया जाए
- कविता में अलंकार, रस पर विशेष बल दिया जाए
- कविता का एक निश्चित भाव, अर्थ नहीं हो सकता
उत्तर : 4
प्रश्न : हिन्दी भाषा का आकलन करते समय ‘पोर्टफोलियो बच्चों के बारे में यह बताता है कि
- उनकी प्रगति में माता-पिता की भूमिका कैसी है?
- उनकी प्रगति में शिक्षकों की भूमिका कितनी है?
- वे क्या जानते है?
- क्रमशः उनकी प्रगति किस प्रकार हो रही है?
उत्तर : 4
प्रश्न : किस साहित्यिक विधा को पढ़ाते समय आप सस्वर पठन पर अनिवार्यतः बल देंगे?
- आत्मकथा
- जीवनी
- एकांकी
- यात्रा वृत्तान्त
उत्तर : 3
प्रश्न : कक्षा आठ के बच्चों के लिए साहित्य का चयन करते समय आपके लिए क्या जानना सर्वाधिक जरूरी है?
- बच्चों के भाषा प्रयोग का स्तर
- अच्छे साहित्य के प्रकाशक, लेखक
- बच्चों की भाषिक पृष्ठभूमि
- बच्चों की मनोवैज्ञानिक विशेषताएँ और भाषा प्रयोग की क्षमता
उत्तर : 4
प्रश्न : नाटक, सिनेमा, परिचर्चा, वाद-विवाद आदि बच्चों की………व स्वाभाविक ……. एवं …….. प्रतिक्रिया व्यक्त करने की क्षमता का विकास करने में मदद करते हैं।
- स्वतन्त्र, मौखिक, लिखित
- स्वतन्त्र, प्रभावी, संस्कृतनिष्ठ
- मानक, सहज, प्रभावी
- मानक, प्रभावी, संस्कृतनिष्ठ
उत्तर : 1
प्रश्न : हमारे अनुभवों को आकार देने में भाषा की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। इसका शैक्षिक निहितार्थ यह है कि भाषा की कक्षा में –
- डायरी लेखन पर जोर दिया जाए ताकि लेखन परिपक्व बन सके
- बच्चों को विविध सन्दर्भों में अनुभव करने, विविध अनुभवों से स्वयं को जोड़ने के अवसर दिए जाएँ
- सदैव अनुभवों पर बातचीत की जाए
- अनुभवों को लेखन कार्य बढ़ाया जाए
उत्तर : 2
निर्देश : नीचे दिए गए गद्यांश को पढ़कर निम्नलिखित नौ प्रश्नों के सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए।
समूची स्वार्थी व अहं प्रेरित प्रवृत्तियाँ नकारात्मक हैं, ऐसे कर्मों में ऊँचे उद्देश्य नहीं होते, उनमें लोक-संग्रह नहीं होता, भव्य आदर्श नहीं होते। दूसरे, भले ही आप अपने सामने एक ऊँचा आदर्श रखें, तो भी आपके कर्म यदि आपके मन के चाहे या अनचाहे से प्रेरित है, तो वे ह्रासमान ही होंगे, क्योंकि पसन्द-नापसन्द से किए जाते कार्य वासनाओं को बढ़ाए बिना नहीं रहते। कोई कार्य आपको महज इस आधार पर नहीं करना चाहिए कि वह आपको पसन्द है। उसी तरह कोई कार्य करने से आपको महज इस आधार पर नहीं कतराना चाहिए। कि वह कार्य आपका मनचाहा नहीं है। कार्य का निर्णय बुद्धि-विवेक के आधार पर होना चाहिए, मनचली भावनाओं, तुनकमिजाजी के आधार पर कतई नहीं। इस एक बात को हमेशा याद रखिए कि पसन्द और नापसन्द आपके सबसे बड़े शत्रु है। आप इन्हें पहचानते तक नहीं। उल्टे आप इन्हें पाल-पोसकर दुलारते हैं। वे तो हर क्षण आपकी हानि व ह्रास करने पर ही तुले हैं। इनसे निबटने का व्यावहारिक मार्ग यह है कि अपनी रुचि और अरुचि का विश्लेषण करें।
प्रश्न : इस गद्यांश में किन्हें शत्रु कहा गया है?
- अहं और स्वार्थ
- मनचली भावनाएँ
- रुचि अरुचि
- तुनकमिजाजी
उत्तर : 3
प्रश्न : लेखक ने इन शत्रुओं से निबटने का कौन-सा मार्ग सुझाया है?
- लोक-संग्रह करना
- विश्लेषण करना
- कर्म करना
- भव्य आदर्श रखना
उत्तर : 2
प्रश्न : कैसी प्रवृत्तियाँ नकारात्मक हैं?
- जिनमें अर्थ का भाव हो
- जिनमें अहं और स्व-हित का भाव हो
- जो स्वयं का हित देखती हों
- जो अहं से ग्रसित हों
उत्तर : 2
प्रश्न : कौन-से कार्य हानि की ओर ले जाते हैं?
- जिनमें संग्रह अनुपस्थित होता है
- जिनमें संग्रह कूट-कूटकर भरा होता है।
- जो मन के अनुसार और हित साधते हैं।
- जो अपनी पसन्द-नापसन्द के आधार पर किए जाते हैं
उत्तर : 4
प्रश्न : इस गद्यांश में किस प्रकार के कार्यों का समर्थन किया गया है?
- जो बुद्धि और विवेक-शक्ति के आधार पर किए जाते हैं।
- जो मनचली भावनाओं और बुद्धि से परे होते हैं
- जो मनचाहे होते हैं
- जो मनचाहे नहीं होते हैं.
उत्तर : 1
प्रश्न : ‘नकारात्मक’ का विलोम शब्द है
- अननकारात्मक
- असकारात्मक
- अनकारात्मक
- सकारात्मक
उत्तर : 4
प्रश्न : “वे तो हर क्षण आपकी हानि व ह्रास करने पर ही तुले है।” वाक्य में ‘वे’ सर्वनाम किसके लिए आया है?
- स्वार्थ प्रेरित प्रवृत्तियों के लिए
- पसन्द-नापसन्द के लिए
- मनचली भावनाओं के लिए
- अहं प्रेरित प्रवृत्तियों के लिए
उत्तर : 2
प्रश्न : किस शब्द में ‘ना’ उपसर्ग का प्रयोग नहीं किया जा सकता है?
- पसन्द
- क़ाबिल
- वाक़िफ़
- हाज़िर
उत्तर : 4
प्रश्न : ‘विश्लेषण’ का विलोम है –
- संश्लिष्ट
- संश्लेषण
- संक्षेपण
- अविश्लेषण
उत्तर : 2
निर्देश : निम्न गद्यांश को पढ़कर निम्नलिखित नौ प्रश्नों में से सबसे उचित विकल्प को चुनिए।
22 दिसम्बर, 1939 को श्री धनसिंह नागरकोटी का घर रिसने लगा। मल्ली ताल में दाहिनी ओर बने कुछ घर भी रिसने लगे। जाड़ों के दिनों में रिसना कम ही होता था पर अबकी पता नहीं क्यों पहाड़ी पर बने घरों में भी इस रिसाव के कारण ठण्ड का प्रभाव कुछ ज्यादा ही होने लगा। सन्तोष की बात थी कि शाम तक पानी का जोर हल्का पड़ने लगा। पर रात को जो बर्फ गिरनी शुरू हुई तो अगले दो दिन तक थमने का नाम ही नहीं लिया। 24 दिसम्बर की शाम तक आकाश खुल गया और लोग ‘ह्वाइट क्रिसमस’ या ‘श्वेत बड़ा दिन’ मनाने की तैयारी में जुट गए। बड़ा दिन जब आया तो सूर्यदेव के दर्शन हुए। छतों पर की बर्फ खिसक-गिरकर घरों के सामने जमा हो गई थी। उसे हटाकर रास्ता साफ किया गया। पिघलती बर्फ के कारण हाड़ कँपाने वाली सर्दी में भी लोगों का उत्साह कम नहीं हुआ और वे परस्पर क्रिसमस की शुभकामनाएँ और डालियों का आदान-प्रदान करने लगे। तापमान शून्य से तीन डिग्री नीचे हो गया था। पानी की आपूर्ति नलों के भीतर पानी के जमने से उनके फट जाने से रूक गई थी।
प्रश्न : गद्यांश में क्रिसमस के लिए ‘ह्वाइट क्रिसमस’ शब्द इसलिए आया है क्योंकि
- क्रिसमस के अवसर पर सब लोग सफेद रंग के कपड़े पहनते हैं
- क्रिसमस के अवसर पर सब लोग सफेद केक खाते हैं
- क्रिसमस के अवसर पर बहुत बर्फ पड़ी थी
- क्रिसमस का असली नाम यही है।
उत्तर : 3
प्रश्न : जाड़े के दिनों में पानी का रिसना
- 22 दिसम्बर की शाम से
- 22 दिसम्बर की सुबह से
- 24 दिसम्बर की शाम से
- 24 दिसम्बर की सुबह से
उत्तर : 1
प्रश्न : पानी की आपूर्ति क्यों नहीं हो पाई?
- पानी पर्याप्त मात्रा में नहीं था
- पानी नलों में जम गया था
- पानी फट गया था
- बर्फ धीमी गति से पिघल रही थी
उत्तर : 2
प्रश्न : जाड़े के दिनों में पानी का रिसना
- हमेशा ज्यादा होता है।
- कभी-कभी होता था
- इस बार ज्यादा था
- इस बार कम था
उत्तर : 3
प्रश्न : सन्तोष की क्या बात थी?
- शाम को ठण्ड का प्रभाव ज्यादा नहीं था
- सुबह ठण्ड का प्रभाव बिल्कुल नहीं था
- शाम को बारिश रूक गई
- शाम को बारिश कम होने लगी
उत्तर : 4
प्रश्न : गद्यांश के आधार पर कहा जा सकता है कि
- पहाड़ों का जीवन आसान है।
- पहाड़ों पर हमेशा त्योहार मनाए जाते हैं।
- पहाड़ों पर जीवन व्यतीत करना कठिन होता है
- पहाड़ों पर हमेशा बर्फ जमी रहती है।
उत्तर : 3
प्रश्न : ‘हाड़ कँपाने वाली सर्दी से आशय है
- होंठ कंपाने वाली सर्दी
- हाथ कंपाने वाली सर्दी
- सिर कंपाने वाली सर्दी
- हड्डी कंपाने वाली सर्दी
उत्तर : 4
प्रश्न : ‘उत्साह’ शब्द है
- भाववाचक संज्ञा
- सकर्मक क्रिया
- गुणवाचक विशेषण
- सम्बन्धवाचक सर्वनाम
उत्तर : 1
प्रश्न : ‘घर’ का बहुवचन रूप है
- घरों
- घरें
- घर
- घराएँ
उत्तर : 3
निर्देश : कविता की पंक्तियाँ पढ़कर निम्नलिखित छः प्रश्नों में सबसे उचित विकल्प चुनिए।
एक ही दीया, स्नेह से भरा,
प्रेम का प्रकाश, प्रेम से धरा,
झिलमिला हवा को तिलमिला रहा
ज्योति का निशान जो हिला रहा
मुस्करा रहा है अन्धकार पर!
यह मजार है किसी शहीद का,
दर्शनीय था जो चाँद ईद का,
देश का सूपत था, गुमान था
सत्य का स्वरूप नौजवान था
जो चला किया सदा दुधार पर!
प्रश्न : हवा क्यों तिलमिला रही है?
- दीये के चलने से
- दीये के स्नेह से
- दीये के निरन्तर जलने से
- अन्धकार होने से
उत्तर : 3
प्रश्न : कविता में ‘अन्धकार’ शब्द से आशय है
- तम
- रात्रि
- बुराइयाँ
- चुनौतियाँ
उत्तर : 3
प्रश्न : ‘दर्शनीय’ शब्द में प्रत्यय है
- ईय
- ई
- नीय
- य
उत्तर : 1
प्रश्न : ईद का चाँद किसे कहा गया है?
- मजार को
- शहीद को
- दर्शनीय स्थल को
- नौजवानों को
उत्तर : 2
प्रश्न : शहीद की कौन-सी विशेषता बताई गई है?
- वह सच्चा इंसान था
- वह तलवारबाजी में निपुण था
- ईद के दिन पैदा हुआ था
- उसे अपने ऊपर बहुत घमण्ड था
उत्तर : 1
प्रश्न : ‘हवा’ का पर्यायवाची शब्द नहीं है –
अनिल
मारुत
अनल
समीर
उत्तर : ??